सिरसा। श्री गुरु नानक देव के प्रकटोदिवस पर संगम स्कूल भरोखां में शब्द गायन कार्यक्रम का आयोजन हुआ, जिसमें विभिन्न कक्षाओं के छात्रों ने गुरु नानक देव के जीवन और उपदेशों पर आधारित शब्द गायन
किया और श्री गुरु नानक देव की जन्म सांखियों पर अपने विचार सांझे किये। कार्यक्रम की शुरुआत विद्यालय के मुख्याध्यापक, अध्यापकगण एवं सभी बच्चों ने श्री गुरु नानक देव की प्रतिमा के समक्ष गुरु मंत्र बोल कर की। इसके बाद छात्रों ने श्री गुरु नानक देव जी के जीवन और उपदेशों पर आधारित शब्द गायन प्रस्तुत किया। विद्यालय की छात्राओं काव्य वर्मा, भारती योगी और हिमांशु ढाका ने जिसके सिर ऊपर तू स्वामी, दुख कैसा पावे, छात्रा रचना, अनीता और सीरत ने जो मांगा ठाकुर अपने ते, नानक दास तै, बोलेया ईंया हुआ सच होवे। विद्यालय की छात्रा रश्मिता और एरलीन ने पैरां दे छाले और प्रिंस रानी ने दे शिवा वर मोहे हो शुभ कर मन तै कबहूं न डरो आदि शब्द गायन किया।
विद्यालय की छात्रा प्राची महला, अनामिका माकड़, जन्नत सोनी और हर्षित कंबोज ने गुरु नानक देव के जीवन से संबंधित अनेक साखियों का उच्चारण किया और गुरु जी के जीवन, उनके उपदेशों और सिख धर्म के महत्व पर अपने विचार प्रस्तुत किए। विद्यालय के मुख्य अध्यापक छगन सेठी ने ने कहा कि गुरु नानक देव के जीवन और उपदेश हमें जीवन के सही मार्ग पर चलने की प्रेरणा देते हैं। हमें उनके संदेशों को अपने जीवन में आत्मसात करना चाहिए। इस अवसर पर विद्यालय के शिक्षकों और छात्रों ने गुरु नानक देव के जीवन और उपदेशों पर आधारित प्रदर्शनी भी लगाई गई। कार्यक्रम का समापन वाहेगुरु जी का खालसा, वाहेगुरु जी की फतेह के जयकारे और अरदास के साथ हुआ।