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एमएसएमई मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार 2016 में जहां 6 करोड़ 25 लाख छोटे उद्योग थे अब सूक्ष्म, लघु उद्योग 48 प्रतिशत घटकर 3 करोड़ 25 लाख रह गए है- बजरंग गर्ग

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सरकार को लघु उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए नियमों में सलीकरण करने की जरूरत है: गर्ग

हिसार: अखिल भारतीय व्यापार मंडल के राष्ट्रीय मुख्य महासचिव व हरियाणा प्रदेश व्यापार मंडल के प्रांतीय अध्यक्ष बजरंग गर्ग ने व्यापारी व उद्योगपतियों से बातचीत करने के उपरांत कहा कि अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ), एसएंडपी जैसी वैश्विक संस्था के आंकडे के अनुसार सूक्ष्म, लघु व मझोले उघोग (एमएसएमई) बीते सात सालों में लगभग 48 प्रतिशत बन्द हो गई है। एमएसएमई मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार 2016 में जहां 6 करोड़ 25 लाख छोटे उद्योग थे अब सूक्ष्म, लघु उद्योग 48 प्रतिशत घटकर 3 करोड़ 25 लाख रह गए हैं। बजरंग गर्ग ने कहा कि सरकार द्वारा बार-बार नीतियों में बदलाव करके जटिलें नियम बनाने से उद्योग पर बुरा असर पड़ा है। सरकार द्वारा जीएसटी लागू करके टैक्सों में भारी भरकम बढ़ोतरी करने से भी लघु उद्योग बंद हुए हैं और सरकार द्वारा नोटबंदी करने से देश व प्रदेश में व्यापार व उद्योगों पर बहुत बुरा असर पड़ा है। सरकार की गलत नीतियों के कारण देश व प्रदेश में लघु उद्योग आज भी काफी बंद होने के कगार पर है। सरकार को लघु उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए नियम में सलीकरण करने की जरूरत है। सरकार को जीएसटी की दरों में सलीकरण करके टैक्सों को कम करना चाहिए। सरकार को गांव स्तर पर लगने वाले कृषि संबंधित उद्योगों को बिना ब्याज लोन देना चाहिए। पहले गांवों में हैंडलूम, बेकरी, नमकीन, साबुन, तेल, पलंग, निवार आदि के भारी तदाद में उद्योग होते थे मगर सरकार की गलत नीतियों के कारण आज गांव स्तर पर छोटे व मध्यम उद्योग 80 प्रतिशत बंद हो गए हैं। लघु उद्योग बंद होने के कारण करोड़ो लोगों की नौकरियां चली गई है। सरकार को बेरोजगारों को रोजगार देने के लिए छोटे व मध्यम उद्योगों को बढ़ावा देने की जरूरत है ताकि आम व्यक्ति को उद्योगों के माध्यम से रोजगार मिल सके।

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